by Major Krapal Verma | Feb 27, 2024 | राम चरण
“प्रणाम रानी साहिबा।” राम चरन ने झुक कर बड़ी विनम्रता के साथ इंद्राणी को प्रणाम किया था। चरण स्पर्श करता राम चरन इंद्राणी को बहुत भला लगा था। इंद्राणी ने सजेवजे राम चरन और सुंदरी को एक साथ देखा था। दोनों का मैच मिला दिखा था। दोनों अपने आप में जहां बेजोड़...
by Major Krapal Verma | Feb 26, 2024 | राम चरण
“राम चरन!” किसी ने उसे नाम ले कर पुकारा था। राम चरन को पहली बार लगा था मानो किसी बिच्छू ने उसे डंक मारा हो। मुड़ कर उसने देखा था। सामने एक युवक – कोई ऋषि कुमार तुल्य अनोखी साज सज्जा में सजा वजा खड़ा था। राम चरन ने कई बार आंखें झिपझिपा कर उस युवक को...
by Major Krapal Verma | Feb 22, 2024 | राम चरण
“कल रात खाने पर बुलाया है, भाभी जी ने!” सुंदरी ने राम चरन को संदेश दिया था। दोनों ने पलट कर एक दूसरे को आंखों में देखा था। खुशियों के चिराग जल उठे थे चारों ओर। उन दोनों के अंतर्मन एकाएक प्रज्वलित हो उठे थे। घोर निराशा के बीचों बीच आशा का सूरज यों उगा था...
by Major Krapal Verma | Feb 20, 2024 | राम चरण
“कुंवर साहब ने बुलाया है!” पंडित जी का संदेश था। “गाड़ी आई है। चले जाओ!” राम चरन के प्राण सूख गए थे। वह तो जानता था कि कुंवर साहब ने उसे क्यों बुलाया था। वह यह भी जानता था कि कुंवर साहब आज देश की हस्तियों में से एक थे। वो राजा थे। वो जन...
by Major Krapal Verma | Feb 19, 2024 | राम चरण
कुंवर खम्मन सिंह ढोलू, उनकी पत्नी इंद्राणी और साला जन्मेजय – तीनों साथ-साथ बैठे थे लेकिन तीनों के तीन दिमागों में मुसीबत एक थी – सुंदरी! जन्मेजय जानता था कि सुंदरी आधी रियासत की मालिक थी। “ये इज्जत का सवाल है!” इंद्राणी ने धीमे स्वर में कहा था।...